अल्मोडा— एआरएम के साथ पूर्व दर्जा मंत्री बिट्टू कर्नाटक ने किया आईएसबीटी का निरीक्षण,खामियों पर व्यक्त की कड़ी नाराजगी
अल्मोड़ा -उत्तराखंड कांग्रेस के वरिष्ठ उपाध्यक्ष एवं पूर्व दर्जामंत्री बिट्टू कर्नाटक ने विगत सायं राजेन्द्र कुमार आर्य सहायक महाप्रबंधक उत्तराखंड परिवहन निगम अल्मोड़ा के साथ अन्तरराज्यीय बस अड्डे का औचक निरीक्षण किया । निरीक्षण के दौरान पायी गयी अव्यवस्थाओं पर गहरी नाराजगी व्यक्त की।
कर्नाटक ने कहा कि जनता के टैक्स की कमाई से जनता की सुविधा के लिए बनने वाले सरकारी कार्यालयों या प्रोजक्टों को सही तरह से बनवाना सम्बन्धित विभागों का कर्तव्य है। कर्नाटक ने कहा कि निरीक्षण के दौरान आईएसबीटी में अनेक खामियां देखने को मिली हैं।वर्कशॉप के सामने बसों की सुरक्षा हेतु रैलिंग नहीं लगायी गयी है।वर्कशॉप के अन्तिम छोर पर चाहरदीवारी का बनना शेष है।पीडब्ल्यूडी कालोनी की ओर आईएसबीटी के लिए बनायी गयी दीवार क्षतिग्रस्त है।साथ ही पीडब्ल्यूडी द्वारा निर्मित दीवार के ऊपर ही आरसीसी की दीवार खड़ी की गयी है जो कि भविष्य के लिए खतरा है।
साथ ही cवर्कशॉप में गाड़ियों की धुलाई हेतु बनाईं गयी टंकी लीकेज हो रही है जिसका पानी पीडब्ल्यूडी कालोनी में जा रहा है।पीडब्ल्यूडी कालोनी में अधिकारी,कर्मचारी अपने परिवार सहित रहते हैं । अतः इस स्थान पर आईएसबीटी का निर्माण कार्य करने वाली कार्यदाई संस्था को चाहरदीवारी बनानी चाहिए।बिल्डिंग के कालम (पीलर) एवं दीवारों पर अभी से दरारें स्पष्ट दिखाई दे रही है।आईएसबीटी के प्रांगण में यात्रियों /दिव्यांग जनों के पैदल चलने वाले मार्ग पर रैलिंग नहीं लगायी गयी है।पीडब्ल्यूडी लिंक मार्ग की ओर तथा मन्दिर से प्रथम गेट तक चाहरदीवारी नहीं बनायी गयी है।इसी स्थान पर निर्मित दुकानों के दोनों ओर वर्कशॉप की ओर जाने हेतु बनायी गयी लोहे की सीढ़ियों पर दोनों ओर गाड़ियों की सुरक्षा हेतु गेट नहीं बना है।मन्दिर का अवशेष कार्य होना शेष है।विल्डिंग में विद्युत कार्य पूर्ण नहीं हुआ है तथा आईएसबीटी के फ्रंट में जो पानी की टंकी बनायी गयी है उसका पानी पुराने सहायक प्रबंधक के कार्यालय के समीप आरसीसी दीवार से बाहर निकलने के कारण फैल रहा है। कर्नाटक ने कहा कि कार्यदांयी संस्था अब नींद से जागे और आईएसबीटी की सभी अव्यवस्थाओं को दुरूस्त करें।अन्यथा जनहित में उन्हें कार्यदाई संस्था के खिलाफ मजबूरन आन्दोलन का रूख अख्तियार करना पड़ेगा।