बिलासपुर: प्रदेश सरकार खेलो के विकास के लिए वचनबद्ध
बिलासपुर। खेलेगा हिमाचल बढ़ेगा हिमाचल की परिकल्पना के लिए प्रदेश की कांग्रेस सरकार व प्रदेश के मुख्यमंत्री वचनबद्ध है। यह कहना है प्रदेश कांग्रेस के मीडिया कॉर्डिनेटर और हमीरपुर संसदीय क्षेत्र के वरिष्ठ कांग्रेस प्रवक्ता संदीप सांख्यान का। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश सरकार प्रदेश के खिलाड़ियों के विकास के लिए वचनबद्ध है। उन्होंने कहा बेशक खेलों के प्रोत्साहन के लिए केंद्र सरकार से हिमाचल सरकार कोई प्रोत्साहन नहीं मिलता है पर फिर भी प्रदेश के मुख्यमंत्री ने हिमाचल प्रदेश के खिलाड़ी जो ओलिम्पिक में स्वर्ण पदक जीत कर आएंगे उनको वर्तमान में 5 करोड़ रुपये की राशि बतौर पुरस्कार मिलेगी। जो कि पूर्व की सरकार में 3 करोड़ रुपये थी। इसी कड़ी में जो हिमाचल के खिलाड़ी ओलंपिक खेलों में रजत पदक जीत कर आएगा उन्हें 2 करोड़ की जगह अब 3 करोड़ मिलेगा और जो ओलंपिक में काँस्य पदक जीतने वाले हिमाचल के खिलाड़ी होंगे उनको 1 करोड़ की जगह 2 करोड़ की राशि से पुरस्कृत किया जाएगा।
संदीप सांख्यान ने कहा कि इसी कड़ी में राष्ट्र मंडल या कॉमनवेल्थ खेलों में भी हिमाचली खिलाड़ीयों को गोल्ड मेडल जीतने पर 50 लाख की जगह अब 3 करोड़, रजत पदक जीतने वाले हिमाचली खिलाड़ी को 30 लाख की जगह 2 करोड़ और कांस्य पदक जीतने वाले हिमाचल के खिलाड़ी को 20 लाख की जगह अब 1 करोड़ की राशि से सम्मानित किया जाएगा। संदीप सांख्यान ने कहा इसी तरह जो हिमाचली खिलाड़ी एशियाई खेलों में गोल्ड जीतेंगे उनको 50 लाख की जगह 4 करोड़, रजत पदक जीतने वाले हिमाचल के खिलाड़ीयों को 30 लाख की जगह अब 2.5 करोड़ और कांस्य पदक जीतने वाले हिमाचली खिलाड़ीयों को 20 लाख की जगह 1.5 करोड़ की राशी से प्रदेश सरकार सम्मानित करेगी। संदीप सांख्यान ने कहा कि इस सम्मान राशी से जहां प्रदेश के खिलाड़ियों में प्रतिस्पर्धा बढ़ेगी वहीं पर प्रदेश के खिलाड़ी अपनी खेल क्षमता का लोहा अंतराष्ट्रीय स्तर और भी अधिक मनवा सकेंगे। संदीप सांख्यान ने कहा इस पूर्व की सरकारों की अपेक्षा प्रदेश की सूक्खु सरकार ने जो सम्मान राशी हिमाचल के खिलाड़ियों के लिए बढ़ाई है उससे प्रदेश के खिलाड़ियों के प्रति प्रदेश सरकार की भूमिका अग्रिणी है।
इसके अलावा भी प्रदेश सरकार प्रदेश स्तर पर भी खिलाड़ियों के उत्कृष्ट योगदान को देखते हुए नई योजनाओं पर काम कर रही है ताकि प्रदेश का युवा वर्ग खेलों की तरफ़ ज्यादा आकर्षित हो और प्रदेश की, देश में व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर एक नई पहचान बन सके।