बिलासपुर नगर परिषद के मनोनीत पार्षद सीएम रिलीफ फंड में देंगे अपना एक महीने का मानदेय
सुमन डोगरा, बिलासपुर। प्रदेश में आने वाली प्राकृतिक आपदाओं तथा आर्थिक संकट से गुजर रही व्यवस्था को सहारा देने के लिए बिलासपुर नगर परिषद के मनोनीत पार्षदों ने अपने एक महीने के मानदेय को मुख्यमंत्री राहत कोष में देने का अनुकरणीय निर्णय लिया है। इन पार्षदों में सेवानिवृत एक्सीयन एसएल पंवर, मुनीष शर्मा, वीना देवी तथा संजीद खान है। प्रैस को जारी बयान में मनोनीत पार्षद एसएल पंवर ने बताया कि प्रदेश के उर्जावान मुख्यमंत्री विपरीत परिस्थितियों में भी प्रदेश को सुचारू एवं सुव्यवस्थित ढंग से चलाने के लिए दिन रात मेहनत कर रहे हैं। उन्होंने अपने दो महीने का वेतन व अन्य भते न लेने का भी निर्णय कर समाज में एक मिसाल पेश की है।
इसके साथ ही उन्होंने कांग्रेस से जुड़े विधायकों और मंत्रियों आदि की सहयोगी की भी सराहना की है। एसएल पवंर ने कहा कि जब बात अपने घर की है तो सभी का दायित्व बन जाता है कि मुश्किल वक्त में साथ खड़े हों और समस्या से पार पाएं। उन्होंने कहा कि उनका मानदेय मात्र अंशदान है लेकिन इससे अन्य चुनिंदा और मनोनीत लोगो को भी आगे आना चाहिए। पंवर ने कहा कि यदि सभी ऐसे समय में एकजुटता का परिचय देकर सरकार के साथ कंधे से कांधा मिलाकर खड़े होंगे तो प्रदेश की आर्थिक स्थिति में सुधार अवश्य होगा। उन्होंने कहा कि यह सब केंद्र सरकार द्वारा मदद न करने के कारण स्थिति उत्पन्न हुई है।
इसके बावजूद मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू की रणनीति इन समस्याओं को दूर करने के लिए कारगर साबित होगी। वहीं पार्षद मनीष शर्मा ने कहा कि यह उनके लिए सौभाग्य की बात है कि वे सरकार के काम आ रहे हैं। उन्हांेने कहा कि सरकार की कल्याणकारी योजनाओं से प्रदेश की जनता का हर वर्ग लाभान्वित हुआ है। कांग्रेस सरकार अपने इस कार्यकाल मंे हर कसौटी पर खरा उतरी है। उन्होंने कहा कि भाजपा ने अपने इरादों का अंजाम देने के लिए षड़यंत्र का प्रयोग करते हुए सरकार को गिराने का प्रयास किया। फलस्वरूप प्रदेश को दो-दो उपचुनावों को खर्चा झेलना पड़ा। बावजूद इसके सुक्खू सरकार ने हर षड़यंत्र का मुंह तोड़ जबाव दिया। उन्होंने कहा कि प्रदेश की जनता का आशीर्वाद सुखविंद्र सिंह सुक्खू के साथ है।