बाढ़ का कहर : शमशान में मचान के ऊपर हुआ महिला का अंमित संस्कार, बेटों ने नाव में बैठकर की अंतिम परिक्रमा
दरभंगा। जिले के कुशेश्वरस्थान के महिसाैत गांव में बाढ़ और बारिश के बीच चिता जलाने के लिए शवदाह के लिए श्मशान घाट में मचान बनाना पड़ा। इस पर उसकी चिता सजाई गई। अंतिम परिक्रमा के लिए भी महिला के बेटों ने नाव का सहारा लिया।
जानकारी के मुताबिक, गांव में शिवनी यादव की लंबी बीमारी के बाद मौत हो गई थी। श्मशान घाट में पानी भरा हुआ था। ऐसे में पहले तो शव जलाने के लिए किसी दूसरी जगह की खोज की गई, लेकिन पूरा गांव ही गांव बाढ़ के पानी से घिरा हुआ था। इसके बाद गांव के लोगों ने श्मशान घाट में ही अंतिम संस्कार करने का फैसला किया।
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पानी में डूबे श्मशान में बांस का मचान बनाया गया। मचान के ऊपर आग जलाने के लिए घर में अनाज रखने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली मिट्टी की बड़ी कोठी रखी गई। मिट्टी से बनी इस कोठी में शिवनी का शव रखकर उसकी चिता सजाई गई। गांव के लोगों की मदद से नाव के जरिए ही शव की अंतिम परिक्रमा की गई। इसके बाद शिवनी के बेटे रामप्रताप ने पिता को मुखाग्नि दी।
गांव में शव जलाने तक के लिए जमीन न मिलने की इस घटना को सरकारी अफसर सामान्य मानते हैं। कुशेश्वरस्थान पूर्व के सीओ त्रिवेणी प्रसाद इस घटना की जानकारी न होने की बात कहते हैं, लेकिन वे बेहद गैर जिम्मेदारी से यह जोड़ना नहीं भूले कि बाढ़ की परिस्थिति में हम कर भी क्या सकते हैं?