कालाढूंगी…कहिए नेता जी 1: तो क्या इस बार बदल रहा है बंशी बाबू का राजयोग

तेजपाल नेगी
कालाढूंगी।
भाजपा शासन में कद्दावर मंत्री और भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत इस बार कांग्रेस के साथ आमने सामने के मुकाबले में आ फंसे हैं। पिछली दफा 20597 के भारी भरकम अंतर से विजय हासिल करने वाले भगत के सामने इस बार मोदी लहर के ढलान और एंटी इन्कंबैसी लहर की मार से बचने की चुनौती होगी।


पिछले चुनाव में नैनीताल जिले में दूसरी सबसे बड़ी जीत हासिल करने वाले बंशीधर भगत को 2017 के विधानसभा चुनावों में 45704 वोट मिले थे। तब कांग्रेस के प्रत्याशी प्रकाश जोशी को 20597 वोट मिले थे। तब तीसरे स्थान पर रहे थे कांग्रेस से बगावत करके निर्दलीय के रूप में उतरे महेश शर्मा। यह बात सही है कि तब महेश शर्मा को लोगों की सहानुभूति का लाभ मिला था। लेकिन यह भी निश्चित है कि बंशीधर भगत को तब मोदी लहर पर सवार होकर चुनाव लड़ रहे थे।

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दूसरे उससे पहले प्रदेश में कांग्रेस की सरकार थी और कांग्रेस के खिलाफ एंटी इन्कंबैंसी की लहर चल रही थी। ऐसे में भगत के बंपर वोट मिले थे, लेकिन अब बंशीधर भगत सरकार का हिस्सा है। उनके खिलाफ एंटी इन्कंबैंसी की लहर है लेकिन मोदी लहर अब उतार पर है। यही भगत की सबसे बड़ी समस्या है। एक और बात भगत को कालाढूंगी में इस बार गजराज विवाद से उपजी परिस्थितियों का भी सामना करना होगा। गजराज को मना लिया गया है लेकिन उनका साथ दे रहे कार्यकर्ता अब दिल से भगत के साथ जुड़ भी पाएंगे इस सवाल का जवाब भी भगत को ढूंढना होगा।

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पिछले चुनाव में कांग्रेस से बगावत करने वाले महेश शर्मा इस बार कांग्रेस के टिकट पर उन्हें चुनौती पेश कर रहे हैं। प्रकाश जोशी इस बार मैदान में नहीं हैं इसलिए कालाढूंगी में भाजपा और कांग्रेस के बीच सीधा मुकाबला है। महेश शर्मा के पास कांग्रेस कैडर के वोट तो हैं ही वे भाजपा सरकार की खामियां सामने रखकर लोगों की बीच जा रहे हैं। रही बात भाजपा द्वारा चलाई गई धर्म की राजनीति की तो कालाढूंगी के अधिकांश मुस्लिम वोटों की बढ़त भी महेश को मिलेगी।

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भगत के खिलाफ विपक्ष ने जब विकास न करने का मुद्दा उछाला तो भगत ने बाकायदा अखबारों में विज्ञापन छपवा कर बताया कि उन्होंने कितने विकास कार्य कराए हैं। लेकिन अभी भी विपक्ष कह रहा है कि गांवों को जाने वाली सड़कें भगत के विकास कार्यों के दावों की हवा निकाल रही हैं।

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भगत स्वयं ही कई मंचों पर कह चुके हैं कि उनकी कुंडली में राजयोग लिखा है। देखना मजेदार रहेगा कि उनकी कुंडली में लिखा योग इस बार भी अपनी असर दिखाएगा या फिर अब उनकी कुुंडली बदली जाएगी।


भगत के चुनाव क्षेत्र में विकास की कितनी हैं संभावनाएं और भगत उन पर कितने खरे उतरे हैं इस विषय पर भी करेंगे चर्चा ‘कालाढूंगी …कहिए नेता जी’ के अगले अंकों में

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